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Rajasthan [Samanya Gyan] Prashn evam Uttar - Rajasthan General Knowledge Questions with Answers


"राजस्थान सामान्य ज्ञान प्रश्न एवं उत्तर" पुस्तक में राजस्थान के इतिहास, संस्कृतिभूगोलराजनीति और समसामयिक घटनाओं से संबंधित महत्वपूर्ण प्रश्नों के उत्तर दिए गए हैं। यह पुस्तक प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी करने वाले विद्यार्थियों के लिए बेहद उपयोगी हैजिसमें सरल भाषा में विस्तृत जानकारी दी गई है।

 

 


Rajasthan General Knowledge Questions with Answers



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राजस्थान सामान्य ज्ञान प्रश्न एवं उत्तर

राजस्थान सामान्य ज्ञान प्रश्न एवं उत्तर" के लिए ब्लॉग पोस्ट में आपको राजस्थान की महत्वपूर्ण जानकारी, इतिहास, भूगोल, संस्कृति और जनरल नॉलेज से जुड़े सवालों के उत्तर मिलेंगे। यह ब्लॉग प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कर रहे छात्रों के लिए बेहद उपयोगी है, जहाँ आपको राजस्थान से संबंधित हर प्रकार के सामान्य ज्ञान के प्रश्नों का संकलन मिलेगा। यदि आप राजस्थान के बारे में और जानना चाहते हैं या परीक्षा की तैयारी कर रहे हैं, तो यह पोस्ट आपके लिए महत्वपूर्ण संसाधन साबित होगी।

 


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प्रमुख विषय

·        राजस्थान सामान्य ज्ञान प्रश्न और उत्तर 2024

·        राजस्थान सामान्य ज्ञान के महत्वपूर्ण प्रश्न

·        राजस्थान के इतिहास से जुड़े सामान्य ज्ञान प्रश्न

·        राजस्थान का सामान्य ज्ञान प्रश्नोत्तरी

·        राजस्थान के प्रमुख सामान्य ज्ञान प्रश्न और उत्तर

·        राजस्थान सामान्य ज्ञान सवाल और जवाब पीडीएफ

·        राजस्थान के भूगोल पर सामान्य ज्ञान प्रश्न

·        राजस्थान के प्रमुख त्यौहार और सामान्य ज्ञान प्रश्न

·        राजस्थान की संस्कृति पर सामान्य ज्ञान के प्रश्न

·        राजस्थान के जिलों पर सामान्य ज्ञान प्रश्न और उत्तर

·        राजस्थान की प्रमुख नदियों पर सामान्य ज्ञान प्रश्न

·        राजस्थान की अर्थव्यवस्था पर सामान्य ज्ञान प्रश्न

·        राजस्थान के किले और महलों पर सामान्य ज्ञान प्रश्न

·        राजस्थान की लोक कला और संस्कृति पर प्रश्नोत्तरी

·        राजस्थान के वीर इतिहास पर सामान्य ज्ञान प्रश्न

·        राजस्थान के विभाजन और शासन प्रणाली पर प्रश्न और उत्तर

·        राजस्थान सामान्य ज्ञान प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए

·        राजस्थान सामान्य ज्ञान महत्वपूर्ण प्रश्नों की सूची

·        राजस्थान सामान्य ज्ञान हिंदी में प्रश्न उत्तर

·        राजस्थान की लोक भाषाओं पर सामान्य ज्ञान प्रश्न

 


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राजस्थान सामान्य ज्ञान प्रश्नोत्तरी





राजस्थान एक ऐतिहासिक और सांस्कृतिक दृष्टि से समृद्ध राज्य है। यहाँ की भौगोलिक स्थिति, ऐतिहासिक घटनाएँ, संस्कृति, कला, और राजनीति से जुड़ी कई महत्वपूर्ण जानकारियाँ प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए आवश्यक होती हैं। नीचे दिए गए प्रश्न एवं उत्तर आपको राजस्थान के सामान्य ज्ञान को बेहतर ढंग से समझने में मदद करेंगे।


1. राजस्थान का स्थापना दिवस कब मनाया जाता है?

उत्तर: 30 मार्च 1949 को राजस्थान की स्थापना हुई थी, इसलिए इस दिन को 'राजस्थान दिवस' के रूप में मनाया जाता है।


2. राजस्थान की राजधानी क्या है?

उत्तर: जयपुर राजस्थान की राजधानी है।


3. राजस्थान का सबसे बड़ा जिला कौन सा है?

उत्तर: क्षेत्रफल की दृष्टि से जैसलमेर राजस्थान का सबसे बड़ा जिला है।


4. राजस्थान की कुल कितनी विधानसभाएँ हैं?

उत्तर: राजस्थान में कुल 200 विधानसभा सीटें हैं।


5. राजस्थान के प्रथम मुख्यमंत्री कौन थे?

उत्तर: राजस्थान के पहले मुख्यमंत्री हीरालाल शास्त्री थे।


6. राजस्थान का सबसे बड़ा मरुस्थल कौन सा है?

उत्तर: थार मरुस्थल, जिसे 'महान भारतीय मरुस्थल' भी कहा जाता है, राजस्थान का सबसे बड़ा मरुस्थल है।


7. राजस्थान का राज्य पशु कौन सा है?

उत्तर: राजस्थान का राज्य पशु चिंकारा (भारतीय गज़ेल) है।


8. राजस्थान का कौन सा किला यूनेस्को की विश्व धरोहर सूची में शामिल है?

उत्तर: राजस्थान के कई किले यूनेस्को की विश्व धरोहर सूची में शामिल हैं, जिनमें से चित्तौड़गढ़ किला प्रमुख है।


9. राजस्थान में सबसे ज्यादा बोली जाने वाली भाषा कौन सी है?

उत्तर: राजस्थान में सबसे अधिक बोली जाने वाली भाषा हिंदी है, जबकि राजस्थानी और मारवाड़ी यहाँ की प्रमुख स्थानीय भाषाएँ हैं।


10. राजस्थान का कौन सा शहर 'सूर्य नगरी' के नाम से प्रसिद्ध है?

उत्तर: जोधपुर को 'सूर्य नगरी' कहा जाता है, क्योंकि यहाँ पूरे साल भर तेज धूप रहती है।


11. राजस्थान में कौन सा प्रसिद्ध त्योहार ऊंटों के लिए मनाया जाता है?

उत्तर: बीकानेर में प्रतिवर्ष 'ऊंट उत्सव' मनाया जाता है, जो राजस्थान की समृद्ध संस्कृति और परंपराओं का प्रतीक है।


12. राजस्थान के प्रमुख लोक नृत्य कौन-कौन से हैं?

उत्तर: राजस्थान के प्रमुख लोक नृत्य घूमर, कालबेलिया, चकरी, भवई आदि हैं।


13. राजस्थान के किस राजा ने चित्तौड़गढ़ का प्रसिद्ध विजय स्तंभ बनवाया?

उत्तर: चित्तौड़गढ़ के महाराणा कुम्भा ने 1448 ईस्वी में विजय स्तंभ का निर्माण करवाया था।


14. राजस्थान में कौन सी नदी सबसे लंबी है?

उत्तर: लूणी नदी राजस्थान की सबसे लंबी नदी है, जो अरावली पर्वतमाला से निकलती है और कच्छ के रण में समाप्त होती है।


15. राजस्थान में कितनी लोकसभा सीटें हैं?

उत्तर: राजस्थान में कुल 25 लोकसभा सीटें हैं।


16. किस युद्ध के बाद राजस्थान का अधिकांश हिस्सा मुगलों के अधीन हो गया?

उत्तर: हल्दीघाटी के युद्ध (1576) के बाद राजस्थान का अधिकांश हिस्सा मुगलों के अधीन हो गया।


17. राजस्थान की सबसे ऊंची चोटी कौन सी है?

उत्तर: गुरु शिखर (1,722 मीटर) जो अरावली पर्वत श्रृंखला में स्थित है, राजस्थान की सबसे ऊंची चोटी है।


18. राजस्थान का कौन सा शहर 'झीलों की नगरी' के नाम से प्रसिद्ध है?

उत्तर: उदयपुर को 'झीलों की नगरी' कहा जाता है, क्योंकि यहाँ कई सुंदर झीलें हैं, जैसे कि पिछोला झील, फतेहसागर झील आदि।


19. राजस्थान में किस स्थल को 'भारत का काला हीरा' कहा जाता है?

उत्तर: कालीन मंदिर कोटा में स्थित है, जहाँ काले पत्थर से बनी मूर्तियों के कारण इसे 'भारत का काला हीरा' कहा जाता है।


20. राजस्थान की पारंपरिक पोशाक कौन सी है?

उत्तर: पुरुष धोती-कुर्ता और पगड़ी पहनते हैं, जबकि महिलाएँ घाघरा-चोली और ओढ़नी पहनती हैं।

 

यहाँ दिए गए प्रश्न एवं उत्तर राजस्थान के ऐतिहासिक, सांस्कृतिक, और भौगोलिक ज्ञान को समृद्ध बनाने में सहायक हैं। ये सामान्य ज्ञान प्रतियोगी परीक्षाओं के साथ-साथ राजस्थान की समृद्ध धरोहर को समझने में भी सहायक होते हैं।

 


 

राजस्थान सामान्य ज्ञान प्रश्न एवं उत्तर- Rajasthan Samanya Gyan Prashn evam Uttar


 


जयपुर- राजस्थान


1.     गुलाबी नगरी के रूप में प्रसिद्ध जयपुर राजस्थान राज्य की राजधानी है।

2.     जयपुर् इसके भव्य किलों, महलों और सुंदर झीलों के लिए प्रसिद्ध है, जो विश्वभर से पर्यटकों को आकर्षित करते हैं।

3.     सिटी पैलेस महाराजा जयसिंह (द्वितीय) द्वारा बनवाया गया था और मुगल और राजस्थानी स्थापत्य का एक संयोजन है।

4.     महराजा सवाई प्रताप सिंह ने हवामहल 1799 ईसा में बनवाया और वास्तुकार लाल चन्द उस्ता थे ।

5.     आमेर् दुर्ग में महलों, विशाल कक्षों, स्तंभदार दर्शक-दीर्घाओं, बगीचों और मंदिरों सहित कई भवन-समूह हैं।

6.     आमेर महल मुगल और हिन्दू स्थापत्य का उत्कृष्ट उदाहरण हैं।

7.     गवर्नमेण्ट सेन्ट्रल म्यूजियम 1876 में, जब प्रिंस ऑफ वेल्स ने भारत भ्रमण किया,सवाई रामसिंह द्वारा बनवाया गया था और 1886 में जनता के लिए खोला गया ।

8.     गवर्नमेण्ट सेन्ट्रल म्यूजियम में हाथीदांत कृतियों, वस्त्रों, आभूषणों, नक्काशीदार काष्ठ कृतियों, सूक्ष्म चित्रों संगमरमर प्रतिमाओं, शस्त्रों और हथियारों का समृद्ध संग्रह है।

9.     सवाई जयसिंह (द्वितीय) ने अपनी सिसोदिया रानी के निवास के लिए 'सिसोदिया रानी का बाग' बनवाया।

10.  जलमहल, शाही बत्तख शिकार-गोष्ठियों के लिए बनाया गया झील के बीच स्थित एक सुंदर महल है।

11.   'कनक वृंदावन' जयपुर में एक लोकप्रिय विहार स्थल है।

12.  जयपुर के बाजार जीवंत हैं और दुकाने रंग बिरंगे सामानों से भरी है, जिसमें हथकरघा उत्पाद, बहुमूल्य पत्थर, वस्त्र, मीनाकारी सामान, आभूषण, राजस्थानी चित्र आदि शामिल हैं।

13.  जयपुर संगमरमर की प्रतिमाओं, ब्लू पॉटरी और राजस्थानी जूतियों के लिए भी प्रसिद्ध है।

14.  जयपुर के प्रमुख बाजार, जहां से आप कुछ उपयोगी सामान खरीद सकते हैं, जौहरी बाजार, बापू बाजार, नेहरू बाजार, चौड़ा रास्ता, त्रिपोलिया बाजार और एम.आई. रोड़ के साथ साथ हैं।

15.  जयपुर शहर के भ्रमण का सर्वोत्तम समय अक्टूबर से मार्च है।

16.  राजस्थान राज्य परिवहन निगम (RSTC) की उत्तर भारत के सभी प्रसुख गंतव्यों के लिए बस सेवाएं हैं।

17.  पूर्वी राजस्थान का द्वारभरतपुर, भारत के पर्यटन मानचित्र में अपना महत्व रखता है।

18.  भारत के वर्तमान मानचित्र में एक प्रमुख पर्यटक गंतव्य, भरतपुर पांचवी सदी ईसा पूर्व से कई अवस्थाओं से गुजर चुका है।

19.  18 वीं सदी का भरतपुर पक्षी अभ्यारण्य, जो केवलादेव घना राष्ट्रीय उद्यान के रूप में भी जाना जाता है।

20.18 वीं सदी का भरतपुर पक्षी अभयारण्य, जो केवलादेव घना राष्ट्रीय उद्यान के रूप में भी जाना जाता है,संसार के सबसे महत्पूर्ण पक्षी प्रजनन और निवास के रूप में प्रसिद्ध है।

21.  लोहागढ़ आयरन फोर्ट के रूप में भी जाना जाता है, लोहागढ़ भरतपुर के प्रमुख ऐतिहासिक आकर्षणों में से एक है।

22.भरतपुर संग्रहालय राजस्थान के विगत शाही वैभव के साथ शौर्यपूर्ण अतीत के साक्षात्कार का एक प्रमुख स्रोत है। 23. एक सुंदर बगीचा, नेहरू पार्क, जो भरतपुर संग्रहालय के पास है।

23.नेहरू पार्क- रंग बिरंगे फूलों और हरी घास के मैदान से भरा हुआ है, इसकी उत्कृष्ट सुंदरता पर्यटकों को आकर्षित करती है।

24.डीग पैलेस एक मजबूत और बहुत बड़ा राजमहल है, जो भरतपुर के शासकों के लिए ग्रीष्मकालीन आवास के रूप में कार्य करता था ।

 

 

जोधपुर


1.       राजस्थान राज्य के पश्चिमी भाग में केन्द्र में स्थित, जोधपुर शहर राज्य का दूसरा सबसे बड़ा शहर है और दर्शनीय महलों, दुर्गों और मंदिरों को प्रस्तुत करते हुए एक लोकप्रिय पर्यटक गंतव्य है।

2.     राजस्थान राज्य के पश्चिमी भाग केन्द्र में स्थित, जोधपुर शहर राज्य का दूसरा सबसे बड़ा शहर है और दर्शनीय महलों, दुर्गों और मंदिरों को प्रस्तुत करते हुए एक लोकप्रिय पर्यटक गंतव्य है।

3.     शहर की अर्थव्यस्था हथकरघा, वस्त्रों और कुछ धातु आधारित उद्योगों को शामिल करते हुए कई उद्योगों पर निर्भर करती है।

4.     रेगिस्तान के हृदय में स्थित, राजस्थान का यह शहर राजस्थान के अनन्त मुकुट का एक भव्य रत्न है।

5.     राठौंड़ों के रूप में प्रसिद्ध एक वंश के प्रमुख, राव जोधा ने मृतकों की भूमि कहलाये गये, जोधपुर की 1459 में स्थापना की।

6.     मेहरानगढ़ दुर्ग, 125 मीटर की पर्वत चोटी पर स्थित और 5 किमी के क्षेत्रफल में फैला हुआ, भारत के सबसे बड़े दुर्गों में से एक है।

7.     मेहरानगढ़ दुर्ग के अन्दर कई सुसज्जित महल जैसे मोती महल, फूल महल, शीश महल स्थित हैं।

8.     मेहरानगढ़ दुर्ग के अन्दर संग्रहालय में भी सूक्ष्म चित्रों, संगीत वाद्य यंत्रों, पोशाकों, शस्त्रागार आदि का एक समृद्ध संग्रह है।

9.     मेहरानगढ़ दुर्ग के सात दरवाजे हैं और शहर का अद्भुत दृश्य प्रस्तुत करते हैं।

10.  उम्मेद भवन पैलेस लाल बलुआ पत्थर और संगमरमर से बना है और इसने महाराजा उम्मेद सिंह के पर्यवेक्षण में 1929 से 1943 तक लगभग 16वर्ष लिये।

11.   जसवंत ठाड़ा एक सफेद संगमरमर का स्मारक है, जो महाराजा जसवन्त सिंह II की याद में 1899 में बनवाया था।

12.  जोधपुर के शासकों के कुछ चित्र भी जसवन्त ठाड़ा पर प्रदर्शित किये गये हैं।

13.  गवर्नमेण्ट म्यूजियम उम्मेद बाग के मध्य में स्थित है और हथियारों, वस्त्रों, चित्रों, पाण्डुलिपियों, तस्वीरों, स्थानीय कला और शिल्पों का एक समृद्ध संग्रह रखता है।

14.  बालसमन्द झील और महल एक कृत्रिम झील है और एक शानदार विहार स्थल है और 1159 ईस्वीं में बनवाया गया था।

15.  मारवाड़ प्रमुख उत्सव है,जो अक्टूबर के महीने में मनाया जाता है।

16.  जोधपुर इसके काष्ट और लौह फर्नीचर, पारंपरिक जोधपुरी हस्तकला, रंगाई वस्त्रों, चमड़े के जूतों, पुरातन वस्तुओँ, कसीदा किये पायदानों, बंधाई और रंगाई की साड़ियों, चांदी के आभूषणों, स्थानीय हस्तकलाओं और वस्त्रों, लाख कार्य और चूड़ियों के लिए जाना जाता है, कुछ सामान है जो आप जोधपुर से खरीद सकते हैं।

17.  सेन्ट्रल मार्केट, सोजती गेट, स्टेशन रोड़, सरदार मार्केट, त्रिपोलिया बाजार, मोची बाजार, लखेरा बाजार, जोधपुर में कुछ सबसे अच्छे खरीददारी स्थानों में हैं।

18.  अक्टूबर से मार्च जोधपुर शहर के भ्रमण का सर्वोत्तम समय है।

19.  बिना मीटर की टैक्सी, ऑटो रिक्शा, टेम्पो और साईकिल रिक्शा जोधपुर शहर के अन्दर यातायात के प्रमुख साधन है।

20.जोधपुर का इसका अपना हवाई अड्डा है जो जयपुर, दिल्ली, उदयपुर, मुम्बई, और कुछ अन्य प्रमुख शहरों से जुड़ा हुआ है।

21.  जोधपुर शहर ब्रोड् गेज रेल्वे लाईनों से सीधे जुड़ा है, जो इसे राजस्थान के अन्दर और बाहर प्रमुख स्थानो से जोड़ता है।

 

 

जैसलमेर


1.       जैसलमेर गर्म और झुलसाने वाली ग्रीष्म ओर ठंड़ी और जमाने वाली सर्दियों के साथ विशिष्ट रेगिस्तानी वर्ग की जलवायु के लिए जाना जाता है।

2.     अक्टूबर से फरवरी जैसलमेर भ्रमण का श्रेष्ठ समय माना जाता है।

3.     जैसलमेर से 16 किमी की दूरी पर स्थित, लोदुरवा जैसलमेर की प्राचीन राजधानी थी।

4.     जैसलमेर की बाहरी सीमा पर स्थित लोकप्रिय सैर स्थलों में से एक, लोदुर्वा लोकप्रिय जैन मंदिर के लिए जाना जाता है, जो वर्ष भर तीर्थयात्राओं की एक बड़ी संख्या को आकर्षित करता है।

5.     जैन मंदिर का मुख्य आर्षषण कल्पतरूनामक एक दैवीय वृक्ष है और लोकप्रिय नक्काशियां और गुंबद मंदिर में अतिरिक्त आकर्षण को जोड़ते है।

6.     वुड़ फॉसिल पार्क जैसलमेर के आस पास में उपलब्ध उत्कृष्ट सैर स्थलों में से एक है।

7.     लाखों वर्ष पुराने जीवाश्मों के लिए प्रसिद्ध, वुड़ फॉसिल पार्क जैसलमेर में थार डेजर्ट का एक भूवैज्ञानिक चिन्ह है।

8.     थार डेजर्ट का सौन्दर्य, जैसलमेर से 42 किमी दूर स्थित, सम रेतीले टीलों द्वारा अच्छी तरह बताया गया है।

9.     सम रेत के टीले मानव को प्रकृति का सर्वोत्तम उपहार है।

10.  सैंकड़ों और हजारों पर्यटक साम रेतीले टीलों से प्रकृति के अद्भुत कलात्मक दृश्य को देखने राजस्थान आते हैं और यह स्थान ऊँट अभियान के द्वारा अच्छी तरह बताया जा सकता है।

11.   जैसलमेर के रेतीले शहर से 45 किमी दूर, डेजर्ट नेशनल पार्क रेतीले टीलों और झाड़ियों से ढकी पहाड़ियों के लिए जाना जाता है।

12.  सैर की श्रेष्ठ जगह, डेजर्ट नेशनल पार्क काले हिरण, चिन्कारा, रेगिस्तानी लेमड़ी और श्रेष्ठ भारतीय बस्टर्ड के लिए प्रसिद्ध है।

13.  जैसलमेर की सर्वश्रेष्ठ हवेलियों में से एक, अमर सागर नक्काशीदार स्तंभों और बड़े गलियारों और कमरों के लिए जानी जाती है।

14.  खण्ड़ों के नमूनों पर निर्मित, अमर सागर हवेली एक पांच मंजिल ऊँची, सुंदर भित्ती चित्रोंसे सुसज्जित हवेली है।

 

 

पूरब का वेनिस- उदयपुर


1.       उदयपुर मेवाड़ के प्राचीन राज्य की ऐतिहासिक राजधानी है और वर्तमान में उदयपुर जिले का प्रशासनिक मुख्यालय है।

2.     झीलों और महलो का शहर, उदयपुर हरी भरी अरावली श्रेणी और स्फटिक स्वच्छ पानी की झील द्वारा घिरा हुआ है।

3.     रोमांच और सौंदर्य का उत्तम संयोजन, उदयपुर, चित्रकारों, कवियों, और लेखकों की कल्पना के लिए प्रथम चयन हो सकता है।

4.     उदयपुर राजस्थान के दक्षिणी भाग में स्थित है और अरावली श्रेणियों से घिरा हुआ है।

5.     उदयपुर इसकी सुंदर झीलों, सुनिर्मित महलों, हरे भरे बगीचों और मंदिरों के लिए जाना जाता है, लेकिन इस जगह के प्रमुख आकर्षण लेक पैलेस और सिटी पैलेस हैं।

6.     सिटी पैलेस पिछोला झील के किनारे पर स्थित है, यह शीशे और कांच के कार्य से निर्मित एक भव्य और प्रेरणादायी गढ़ है।

7.     कलाओं और परिकल्पनाओं का एक उत्तम संयोजन, सिटी पैलेस तकनीक और स्थापत्य में इसकी उन्नति के लिए जाना जाता है।

8.     सिटी पैलेस का एक भाग अब एक संग्रहालय में परिवर्तित कर दिया है, जो कला और साहित्य के कुछ उत्तम रूपों को प्रदर्शित करता है।

9.     उदयपुर कई संयुक्त आर्कषणों और प्राकृतिक सौन्दर्य से धन्य है, राजस्थान का एक प्रसिद्ध शहर इसके उत्कृष्य स्थापत्य और हस्तशिल्प के लिए जाना जाता है।

10.  जग मंदिर, फतेह प्रकाश पैलेस, क्रिस्टल गैलरी, और शिल्पग्राम उदयपुर के आस पास में स्थित कुछ श्रेष्ठ स्मारक और स्थान हैं।

11.   जग मंदिर पिछोला लेक में स्थित एक द्वीप महल है जो महाराजा करन सिंह ने राजकुमार खुर्रम के शरण स्थल के लिए बनवाया था।

12.  जग मंदिर इसके सुंदर बगीचों, प्रांगण और स्लेटी और नीले पत्थर में प्रदर्शिरत नक्काशीदार छत्रीके लिए भी जाना जाता है।

13.  फतेह प्रकाश पैलेस विलासिता और सौर्दर्य का एक उत्तम उदाहरण है जो उदयपुर को शाही आतिथ्य और संस्कृति के शहर के रूप में अभिव्यक्त करता है।

14.  शिल्पग्राम आधुनिक अवधारणा को कम प्रमुखता देते हुए, गांव की अवधारणा पर बनाया गया है।

15.  कलाओं, संस्कृति और शिल्प का एक उत्तम मिश्रण शिल्पग्राम में प्रदर्शित किया गया है और इसके मिट्टी के काम के लिए जाना जाता है, जो मुख्यतः गहरी भूरी और गहरी लाल मिट्टी में किया जाता है।

16.  मेवाड़ उत्सव उदयपुर के महत्वपूर्ण उत्सवों में से एक है और प्रतिवर्ष अप्रैल माह में मनाया जाता है।

17.  उदयपुर में खरीददारी हमेशा एक सुखदायी अनुभव है और यह स्थानीय व्यापारियों द्वारा विकसित उत्कृष्ट हस्तशिल्प और कार्यों को दिखाती है।

18.  उदयपुर के मुख्य बाजार पैलेस रोड़, हाथी पोल, बड़ा बाजार, बापू बाजार और चेतक सर्किल हैं। राजस्थली राजस्थान सरकार का स्वीकृति प्राप्त विक्रय केन्द्र है।

19.  सितंबर से मार्च उदयपुर भ्रमण का सबसे उत्तम मौसम है।

 

 

बीकानेर


1.       राजसी शहर बीकानेर का एक अद्वितिय कालजयी आकर्षण है।

2.     राजस्थान का यह रेगिस्तानी शहर इसके आकर्षणों के लिए प्रसिद्ध है, जिसमें दुर्ग, मंदिर, और कैमल फेस्टिवल शामिल हैं। ऊँटों के देश के रूप में प्रचलित बीकानेर नें औद्योगिक क्षेत्र में भी एक छाप बनाई है।

3.     इसकी बीकानेरी मिठाइयों और नाश्ते के लिए संसार में सुप्रसिद्ध, बीकानेर का प्रगतिशील पर्यटन उद्योग भी राजस्थान की अर्थव्यवस्था में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।

4.     एक रोमांचक ऊँट की सवारी की आशा करने वाले पर्यटकों के लिए बीकानेर एक प्रमुख केन्द्र भी है, जो सुदूर राजस्थान की उत्तम जीवन शैली में अन्तदृष्टी प्रदान करता है।

5.     जूनागढ़ दुर्ग के अन्दर एक संग्रहालय है, जिसमें बहुमूल्य पुरातन वस्तुओं का संग्रह है।

6.     लालगढ़ पैलेस महाराजा गंगा सिंह द्वारा बनवाया गया था और बीकानेर शहर से 3 किमी उत्तर में स्थित है।

7.     दि राजस्थान टूरिज्म डवलपमेन्ट कॉर्पोरेशन(आर.टी.डी.सी.) ने लालगढ़ पैलेस का एक भाग एक होटल में बदल दिया है।

8.     लालगढ़ पैलेस के अन्दर एक पुस्तकालय भी है, जिसमें ब़डी संख्या में संस्कृत पाण्डुलिपियां हैं।

9.     गजनेर वन्य जीव अभ्यारण्य बीकानेर शहर से 32 किमी दूर है और जानवरों और पक्षियों की कई प्रजातियों का घर है।

10.  भाण्डेश्वर और साण्डेश्वर मंदिर दो भाईयों द्वारा बनवाये गये थे और जैन तीर्थंकर, पार्श्वनाथ जी को समर्पित हैं।

11.   कांच का कार्य और सोने के वर्क के चित्र भाण्डेश्वर और साण्डेश्वर मंदिरों के प्रमुख आकर्षण हैं।

12.  दि गंगा गोल्डन जुबली म्यूजियम में मिट्टी के बर्तनों, चित्रों, कालीनों, सिक्कों और शस्त्रागारों का एक बड़ा संग्रह है।

13.  केमल फेस्टीवल प्रतिवर्ष जनवरी महीने में मनाया जाता है और राजस्थान के डिपार्टमेन्ट ऑफ टूरिज्म, आर्ट एण्ड कल्चर द्वारा आयोजित किया जाता है।

14.  प्रसिद्ध बीकानेरी भुजिया और मिठाईयां बीकानेर में खरीददारी के कुछ सबसे अच्छे सामान हैं।

15.  भ्रमण करने के श्रेष्ठ महीने अक्टूबर से मार्च शहर के भ्रमण का श्रेष्ठ समय है।

 

 

माउण्ट आबू


1.       आबू पर्वत, अरावली श्रेणी के दक्षिणी शिखर पर स्थित, राजस्थान का एकमात्र पर्वतीय स्थल है।

2.     ब्रिटिश शासन के दौरान माउण्ट आबू अंग्रेजों का मनपसंद ग्रीष्मकालीन गन्तव्य बन गया ।

3.     गौमुख मंदिर भगवान राम को समर्पित है, यह छोटा मंदिर माउण्ट आबू के 4 किमी दक्षिण मे स्थित है और इसका नाम एक संगमरमर का गाय के मुंह से बहते हुए एक प्राकृतिक झरने से लिया है।

4.     नक्की झील, एक कृत्रिम झील कस्बे के हृदय में स्थित है और सुदृश्य पहाड़ियों, सुंदर बगीचों से घिरा हुआ है और एक अवश्य दर्शनीय स्थान है।

 

 

मन्दिर स्थापत्य


1.          राजस्थान में जो मंदिर मिलते हैं, उनमें सामान्यतः एक अलंकृत प्रवेश-द्वार होता है, उसे तोरण-द्वारकहते हैं।

2.        सभा-मण्डप- तोरण द्वार में प्रवेश करते ही उपमण्डप आता है। तत्पश्चात् विशाल आंगन आता है, जिसे सभा-मण्डपकहते हैं।

3.        मूल-नायक- मंदिर में प्रमुख प्रतिमा जिस देवता की होती है उसे मूल-नायककहते हैं।

4.        गर्भ-गृह- सभा मण्डप के आगे मूल मंदिर का प्रवेश द्वार आता है। मूल मन्दिर को गर्भ-गृहकहा जाता है, जिसमें मूल-नायककी प्रतिमा होती है।

5.        गर्भगृह के ऊपर अलंकृत अथवा स्वर्णमण्डित शिखर होता है।

6.        प्रदक्षिणा पथ- गर्भगृह के चारों ओर परिक्रमा लगाने के लिए जो गलियारा होता है, उसे पद-प्रदक्षिणा पथकहा जाता है।

7.        पंचायतन मंदिर- मूल नायक का मुख्य मंदिर चार अन्य लघु मंदिरों से परिवृत (घिरा) हो तो उसे पंचायतन मंदिरकहा जाता है।

8.        तेरहवीं सदी तक राजपूतों के बल एवं शौर्य की भावना मन्दिर स्थापत्य में भी प्रतिबिम्बित होती है। अब मन्दिर के चारों ओर ऊँची दीवारें, बड़े दरवाजें तथा बुर्ज बनाकर दुर्ग स्थापत्य का आभास करवाया गया। इस प्रकार के मन्दिरों में रणकपुर का जैन मन्दिर, उदयपुर का एकलिंगजी का मन्दिर, नीलकण्ठ (कुंभलगढ़) मन्दिर प्रमुख हैं।

9.        दुर्भाग्य से राजस्थान में सातवीं शताब्दी से पूर्व बने मन्दिरों के अवशेष ही प्राप्त होते हैं।

10.     यहाँ मन्दिरों के विकास का काल सातवीं से दसवीं शताब्दी के मध्य रहा। यह वह काल था, जब राजस्थान में अनेक मन्दिर बने।

11.      इस काल में ही मन्दिरों की क्षेत्रीय शैलियाँ विकसित हुई। इस काल में विशाल एवं परिपूर्ण मन्दिरों का निर्माण हुआ।

12.     लगभग आठवीं शताब्दी से राजस्थान में जिस क्षेत्रीय शैली का विकास हुआ, “गुर्जर-प्रतिहार अथवा महामारूकहा गया है।

13.     गुर्जर-प्रतिहार अथवा महामारू शैली के अन्तर्गत प्रारम्भिक निर्माण मण्डौर के प्रतिहारों, सांभर के चौहानों तथा चित्तौड़ के मौर्यों ने किया।

14.     गुर्जर-प्रतिहार अथवा महामारू शैली के मन्दिरों में केकीन्द (मेड़ता) का नीलकण्ठेश्वर मन्दिर, किराडू का सोमेश्वर मन्दिर प्रमुख हैं।

15.     इस क्रम को आगे बढ़ाने वालों में जालौर के गुर्जर प्रतिहार रहे और बाद में चौहानों, परमारों और गुहिलों ने मन्दिर शिल्प को समृद्ध बनाया।

16.     इस युग के कुछ मन्दिर गुर्जर-प्रतिहार शैली की मूलधारा से अलग है, इनमें बाड़ौली का मन्दिर, नागदा में सास-बहू का मन्दिर और उदयपुर में जगत अम्बिका मन्दिर प्रमुख हैं।

17.     इसी युग का सिरोही जिले में वर्माण का ब्रह्माण्ड स्वामी मन्दिर अपनी भग्नावस्था के बावजूद राजस्थान के सुन्दर मन्दिरों में से एक है। वर्माण का ब्रह्माण्ड स्वामी मन्दिर एक अलंकृत मंच पर अवस्थित है।

18.     दक्षिण राजस्थान के इन मन्दिरों में क्रमबद्धता एवं एकसूत्रता का अभाव दिखाई देता है। इन मन्दिरों के शिल्प पर गुजरात का प्रभाव स्पष्टतः देखा जा सकता है। इन मन्दिरों में विभिन्न शैलीगत तत्वों एवं परस्पर विभिन्नताओं के दर्शन होते हैं।

19.     ग्यारहवीं से तेरहवीं सदी के बीच निर्मित होने वाले राजस्थान के मन्दिरों को श्रेष्ठ समझा जाता है क्योंकि यह मन्दिर-शिल्प के उत्कर्ष का काल था।

20.   ग्यारहवीं से तेरहवीं सदी के बीच के इस युग में राजस्थान में काफी संख्या में बड़े और अलंकृत मन्दिर बने, जिन्हें सोलंकी या मारु गुर्जर शैली के अन्तर्गत रख जा सकता है।

21.     इस शैली के मन्दिरों में ओसियाँ का सच्चिया माता मन्दिर, चित्तौड़ दुर्ग स्थित समिधेश्वर मन्दिर आदि प्रमुख है।

22.   इस शैली के द्वार सजावटी है। खंभे अलंकृत, पतले, लम्बे और गोलाई लिये हुये है, गर्भगृह के रथ आगे बढ़े हुये है। ये मन्दिर ऊँची पीठिका पर बने हुये हैं।

23.  राजस्थान में जैन धर्म के अनुयायियों ने अनेक जैन मन्दिर बनवायें, जो वास्तुकला की दृष्टि से अभूतपूर्व हैं।

24. राजस्थान के जैन मंदिरों में विशिष्ट तल विन्यास, संयोजन और स्वरूप का विकास हुआ जो इस धर्म की पूजा-पद्धति और मान्यताओं के अनुरूप था।

25.  राजस्थान के जैन मन्दिरों में सर्वाधिक प्रसिद्ध देलवाड़ा (माउंट आबू) के मन्दिर हैं। इनके अतिरिक्त रणकपुर, ओसियाँ, जैसलमेर आदि स्थानों के जैन मन्दिर प्रसिद्ध हैं।

26.   साथ ही राजस्थान के जैन मन्दिरों में पाली जिले में सेवाड़ी, घाणेराव, नाडौल-नारलाई, सिरोही जिले में वर्माण, झालावाड़ जिले में चाँदखेड़ी और झालरापाटन, बूँदी में केशोरायपाटन, करौली में श्रीमहावीर जी आदि स्थानों के जैन मन्दिर प्रमुख हैं।

27.   बाड़मेर जिले में स्थित किराडू प्राचीन मन्दिरों के लिए प्रसिद्ध है। यहाँ का सोमेश्वर मन्दिर शिल्पकला के लिए विख्यात है। वीर रस, शृंगार रस, युद्ध, नृत्य, कामशात्र, रुप इत्यादि की भाव-भंगिमा युक्त मूर्तियाँ शिल्पकला की दृष्टि से अनूठी हैं।

28.    किराडू को कामशास्त्र की मूर्तियों के कारण राजस्थान का खजुराहोकहा जाता है।

29.    शिल्पकला के लिए विख्यात किराडू मन्दिर ग्यारहवीं-बारहवीं शताब्दी के बने हुए हैं।

30.    एकलिंगजी का मन्दिर उदयपुर शहर के निकट नाथद्वारा राजमार्ग पर कैलाशपुरी नामक गाँव में बना हुआ है।

31.      एकलिंगजी का मन्दिर मेवाड़ महाराणाओं के इष्टदेव भगवान् शिव का एक लकुलीश मन्दिर है।

32.    एकलिंगजी मन्दिर का निर्माण आठवीं शताब्दी में मेवाड़ के गुहिल शासक बप्पा रावल ने करवाया था तथा इसे वर्तमान स्वरूप महाराणा रायमल ने दिया था।

33.   एकलिंगजी मन्दिर के मुख्य भाग में काले पत्थर से बनी एकलिंगजी की चतुर्मुखी प्रतिमा है।

34.किसी भी साहसिक कार्य के लिए प्रस्थान करने से पूर्व मेवाड़ के शासक एकलिंगजी मन्दिर में आकर आशीर्वाद लेते थे।

35. एकलिंग जी को मेवाड़ राजघराने का कुलदेवता माना जाता था, जबकि यहाँ का राजा स्वयं को इनका दीवान मानते थे।

36. एकलिंगजी मन्दिर के अहाते में कुंभा द्वारा निर्मित विष्णु मंदिर भी है, जिसे लोग मीराबाई का मन्दिर कहते हैं।

37.   एकलिंगजी में शिवरात्रि को प्रतिवर्ष मेला लगता है।

38.   कैला देवी मन्दिर का मन्दिर करौली से 26 किमी दूर अवस्थित है।

39.   कैला देवी का मूल मंदिर खींची राजपूतों का है, जिसे कालान्तर में यादव वंश के शासक भंवरपाल ने संगमरमर से निर्मित करवाया था।

40.कैला देवी राजपूतों की कुलदेवी है।

41.   कैला देवी मुख्य मन्दिर में कैलादेवी (महालक्ष्मी) एवं चामुण्डा देवी की प्रतिमाएँ स्थापित हैं।

42. धार्मिक आस्था के प्रमुख केन्द्र के रूप में प्रतिष्ठित कैला देवी मन्दिर में लाखों दर्शनार्थी प्रतिवर्ष आते हैं। इसलिए यहाँ लगने वाले मेले को लक्खी मेला कहा जाता है।

43. राजपूत, मीणा आदि कैलादेवी के प्रमुख भक्त माने जाते हैं।

44. कैला देवी मन्दिर में एक भैरों मन्दिर और हनुमान मन्दिर (लांगुरिया) भी स्थित है।

45. कैला देवी मन्दिर में लगने वाले मेले में लांगुरिया गीत गाये जाते हैं।

46. देशभर में विख्यात रणथम्भौर का त्रिनेत्र गणेश मन्दिर सवाई माधोपुर शहर के निकट स्थित रणथम्भौर के किले में स्थित है।

47.  त्रिनेत्र गणेश की प्रतिमा में सिन्दूर लेपन की मात्रा अधिक होने के कारण मूर्ति का वास्तविक स्वरूप जानना कठिन है, पर इतना निश्चित है कि गणेशजी के मुख की ही पूजा की जाती है। गर्दन, हाथ, शरीर, आयुध व अन्य अवयव इस प्रतिमा में नहीं है।

48. विवाह आदि मांगलिक अवसरों पर त्रिनेत्र गणेश जी को प्रथम पाती पहुँचाकर निमन्त्रित करने की सुदीर्घ परम्परा है।

49. जयपुर का गोविन्ददेवजी मन्दिर गौड़ीय सम्प्रदाय का प्रमुख मन्दिर है। वल्लभ सम्प्रदाय के अनुयायी इनके बालरूप की पूजा करते हैं, तो गौड़ीय सम्प्रदाय वाले युगल रूप अर्थात् राधाकृष्ण के रूप में पूजते हैं।

50.  जयपुर के गोविन्ददेव जी की यह मूर्ति सवाई जयसिंह द्वारा वृन्दावन से लाकर जयपुर में प्रतिष्ठापित की गई थी।

51.    जयपुर के गोविन्ददेव जी का मंदिर जगन्नाथपुरी, ब्रज और ढूँढाड़ क्षेत्र की परम्पराओं का सुन्दर संयोजन प्रस्तुत करता है।

52.  आमेर में स्थित जगतशिरोमणि मन्दिर का निर्माण कछवाहा शासक मानसिंह की पत्नी कंकावती ने अपने पुत्र जगतसिंह की स्मृति में करवाया था।

53.  कहा जाता है जगतशिरोमणि मन्दिर में प्रतिष्ठित काले पत्थर की कृष्ण की मूर्ति वही मूर्ति है, जिसकी मीरा चित्तौड़ में आराधना किया करती थी। आमेर के राजा मानसिंह इसे चित्तौड़ से लेकर आए थे।

54.जगतशिरोमणि मंदिर अपने उत्कृष्ट शिल्प एवं सौन्दर्य के कारण आमेर का सबसे अधिक विख्यात मंदिर है।

55.  उदयपुर में स्थित जगदीश मन्दिर शिल्पकला की दृष्टि से अनूठा है। इसका निर्माण 1651 में महाराणा जगतसिंह ने करवाया था।

56.  उदयपुर के जगदीश मन्दिर में भगवान जगदीश (विष्णु) की काले पत्थर से निर्मित पाँच फीट ऊँची प्रतिमा स्थापित है।

57.  जगदीश मन्दिर पंचायतन शैली का है। चार लघु मंदिरों से परिवृत होने के कारण इसे पंचायतन कहा गया है। मन्दिर के चारों कोनों में शिव पार्वती, गणपति, सूर्य तथा देवी के चार लघु मन्दिर तथा गर्भगृह के सामने गरूड़ की विशाल प्रतिमा है।

58.  भगवान् जगदीश का विशाल और शिखरबन्द मन्दिर एक ऊँचे स्थान पर बना हुआ होने के कारण बड़ा भव्य दिखता है। इस मन्दिर के बाहरी भाग में चारों ओर अत्यन्त सुन्दर शिल्प बना हुआ है।

59.  कर्नल टॉड, गौरीशंकर हीराचन्द ओझा, कविराज श्यामलदास आदि ने जगदीश मन्दिर के शिल्प की उत्कृष्टता की मुक्त कंठ से प्रशंसा की है।

60.  झालरापाटन के मध्य अवस्थित विशाल सूर्य मंदिर में सूर्य और विष्णु के सम्मिलित भाव की एक ही प्रतिमा मुख्य रथिका में है।

61.    झालरापाटन के सूर्य मंदिर के गर्भगृह के बाहर शिव की ताण्डव नृत्यरत प्रतिमा और मातृकाओं की प्रतिमाएँ हैं।

62.  झालरापाटन का सूर्य मंदिर मूल रूप से दसवीं सदी का है, गर्भगृह की रथिका में त्रिमुखी सूर्य प्रतिमा है, जिसमें विष्णु का भाव मिश्रित है।

63.  सफेद संगमरमर से निर्मित भारतीय शिल्पकला की उत्कृष्टता तथा जैन संस्कृति के वैभव और उदारता को प्रकट करने वाले देलवाडा़ के जैन मन्दिर सिरोही जिले में आबू पर्वत पर स्थित है।

64.देलवाडा़ स्थित जैन मन्दिरों में दो मन्दिर प्रमुख है। प्रथम मन्दिर 1031 ई में गुजरात के चालुक्य राजा भीमदेव के मन्त्री विमलशाह ने बनवाया था। यह मन्दिर प्रथम जैन तीर्थंकर ऋषभदेव को समर्पित है। इस मन्दिर को विमलवसही के नाम से भी जाना जाता है।

65.  देलवाडा़ स्थित दूसरा प्रमुख जैन मन्दिर 22वें जैन तीर्थंकर नेमिनाथ का है, जिसका निर्माण वास्तुपाल और तेजपाल द्वारा 1230 में करवाया गया था। इस मन्दिर को लूणवसही के नाम से भी जाना जाता है।

66.  देलवाडा़ के जैन मन्दिरों के मंडपों, स्तम्भों, छतरियों तथा वेदियों के निर्माण में श्वेत पत्थर पर इतनी बारीक एवं भव्य खुदाई की गई है, जो अन्यत्र दुर्लभ है। वस्तुतः यह मन्दिर सम्पूर्ण भारत में कलात्मकता में बेजोड़ है।

67.  चित्तौड़ जिले में स्थित बाड़ोली शिव मन्दिर पंचायतन शैली के मन्दिर के रूप में विख्यात है। इसमें मुख्य मूर्तियाँ शिव-पार्वती और उनके अनुचरों की है।

68.  ऐसा माना जाता है कि बाड़ोली के शिव मन्दिर का निर्माण हूण शासक तोरमाण के पुत्र मिहिरकुल ने करवाया था।

69.  बाड़ोली के शिव मन्दिर को प्रकाश में लाने का श्रेय जेम्स टॉड को दिया जाता है।

70.  पुष्कर में स्थित ब्रह्माजी का मन्दिर राजस्थान के प्राचीनतम मन्दिरों में से एक है और पूरे भारत में कुछ वर्षों पूर्व तक यह ब्रह्माजी अकेला मन्दिर था।

71.    पुष्कर के ब्रह्मा मन्दिर के अन्दर ब्रह्माजी की चतुर्मुखी मूर्ति प्रतिष्ठित है।

72.  भण्डदेवरा का शिव मन्दिर बारां जिले के रामगढ़ में स्थित है।

73.  भण्डदेवरा मन्दिर में उत्कीर्ण मिथुन मुद्रा की आकृतियाँ इसे खजुराहो के समकक्ष रखती है। इसलिए इस शिव मन्दिर को हाड़ौती का खजुराहोकहा जाता है।

74.  भण्डदेवरा का शिव देवालय पंचायतन शैली में बना हुआ है।

75.  बारां के भण्डदेवरा मन्दिर का निर्माण मेदवंशीय राजा मलय वर्मा ने दसवीं शताब्दी में करवाया था।

76.  रणकपुर का जैन मन्दिर पाली जिले में स्थित है, यह अपनी अद्भुत शिल्पकला एवं भव्यता के साथ आध्यात्मिकता लिए हुए है। यह मन्दिर अपनी शिल्पकला के साथ ही अध्यात्म एवं शांति का केन्द्र है।

77.  रणकपुर का जैन मन्दिर प्रथम जैन तीर्थंकर आदिनाथ को समर्पित है।

78.  रणकपुर जैन मन्दिर का निर्माण महाराणा कुंभा के शासनकाल (1433-1468) में धरणशाह नामक एक जैन व्यापारी ने, प्रसिद्ध विशेषज्ञ देपाक के निर्देशन में करवाया था।

79.  रणकपुर का जैन मन्दिर 1444 खंभों पर टिका हुआ है। इसलिए इसे खंभों का अजायबघरकहा जाता है।

80.  रणकपुर जैन मन्दिर में मूल गर्भगृह में आदिनाथ की चारमुखी मूर्ति लगी हुई है। इसलिए यह मन्दिर चौमुखा मन्दिरभी कहलाता है।

81.    भीलवाड़ा जिले में स्थित शाहपुरा में रामस्नेही सम्प्रदाय की मुख्य पीठ स्थित है, जिसे रामद्वारा कहा जाता है।

82.  शाहपुरा में रामस्नेही सम्प्रदाय के संस्थापक स्वामी रामचरण का समाधिस्थल तथा एक विशाल रामद्वारा बना हुआ है।

83.  शाहपुरा में रामस्नेही सम्प्रदाय के संस्थापक स्वामी रामचरण के समाधि स्थल पर बारहदरी बनी है, जिस पर कलात्मक बारह स्तंभ एवं बारह दरवाजे लगे हुए हैं।

84. शाहपुरा के रामद्वारा परिसर में रामस्नेही सम्प्रदाय के आचार्यों और शाहपुरा के दिवंगत राजाओं की छतरियाँ बनी हुई हैं।

85.  शाहपुरा के रामस्नेही सम्प्रदाय के रामद्वारा में प्रतिवर्ष फूलडोल उत्सव धूमधाम से मनाया जाता है।

86.  आमेर में स्थित शिलादेवी मन्दिर का निर्माण कछवाहा शासक मानसिंह (1589-1614) ने करवाया था।

87.  आमेर का राजा मानसिंह बंगाल को जीतकर शिलादेवी की मूर्ति को आमेर लाया था।

88.  आमेर में स्थित शिलादेवी मन्दिर के कपाट चाँदी के बने हुए हैं, जिन पर विद्या देवियाँ व नवदुर्गा का चित्रण किया गया है।

89.  झालावाड़ जिले के झालरापाटन में स्थित शीतलेश्वर मन्दिर राजस्थान के तिथियुक्त मन्दिरों में सबसे प्राचीन (689 ई.) हैं।

90.  झालरापाटन का शीतलेश्वर मन्दिर चन्द्रभागा नदी के तट पर स्थित है।

91.   झालरापाटन के शीतलेश्वर मन्दिर के भग्नावशेषों में केवल गर्भगृह और छत रहित अंतराल ही मिलता है।

92.   पुष्टिमार्गीय वैष्णवों का प्रमुख तीर्थस्थल (प्रधान पीठ) श्रीनाथजी मन्दिर है जो राजसमन्द जिले के नाथद्वारा में स्थित है।

93.  श्रीनाथद्वारा के श्रीनाथजी मन्दिर में कृष्ण के बालरूप की उपासना की जाती है।

94. औरगंजेब द्वारा हिन्दू मूर्तियों एवं मन्दिरों को तुड़वाने पर मथुरा से मंदिर के तिलकायत दाउजी महाराज के नेतृत्त्व में वैष्णव भक्त श्रीनाथजी की मूर्ति को सिहाड़ (आधुनिक नाथद्वारा) लाए थे, जहाँ उदयपुर के महाराणा राजसिंह ने उन्हें शरण देकर यहाँ मूर्ति को प्रतिष्ठित किया था।

95.  श्रीनाथद्वारा के मन्दिर में अष्टछाप कवियों के पद शास्त्रीय संगीत में गाये जाते हैं, जिसे हवेली संगीतकहा जाता है।

96.  श्रीनाथद्वारा के मन्दिर में श्रीनाथजी के स्वरूप के पीछे कृष्णलीला विषयक चित्रों का कपड़े का पट् लगाया जाता है, जिसे पिछवाईकहा जाता है।

97.  जोधपुर जिले के ओसियाँ में सच्चिया माता का बारहवीं सदी का विशाल और भव्य मन्दिर स्थित है।

98.  ओसियाँ का सच्चिया माता मन्दिर पंचायतन शैली का है, जिसके मन्दिर के कोनों पर विष्णु, शिव व सूर्य के मन्दिर बने हुए हैं, जो स्थापत्य शिल्प के उत्कृष्ट नमूने हैं।

99.  ओसियाँ स्थित सच्चिया माता हिन्दुओं और ओसवाल समाज दोनों की ही पूज्य देवी है।

100.         ओसियाँ के मन्दिरों में शैलीगत विविधता मिलती है। इनमें अलंकरण काफ़ी मात्रा में है। यहाँ के मन्दिरों के दरवाजों पर पौराणिक तथा लोक कथाओं का चित्रण किया गया है।

101.          ओसियाँ के मन्दिर परिसर में जैन धर्म के चौबीसवें तीर्थंकर भगवान महावीर का एक सुन्दर मन्दिर है, जो प्रतिहारकालीन है। इस मन्दिर के तोरण भव्य हैं और स्तम्भों पर जैन तीर्थंकरों की प्रतिमाएँ उत्कीर्ण है।

102.         उदयपुर जिले में कैलाशपुरी के पास नागदा में सास-बहू का प्रसिद्ध मन्दिर बना हुआ है।

103.         सास-बहू का मन्दिर एक युगल मन्दिर (दो मंदिरों का समूह) है। इनमें बड़ा मन्दिर (सास का मन्दिर) दस सहायक देव मन्दिरों से घिरा हुआ है, जबकि छोटा मंदिर (बहू का मन्दिर) पंचायतन प्रकार का है।

104.         नागदा का सास-बहू का मन्दिर वस्तुतः सहस्त्रबाहु मंदिर है।

105.         नागदा के सास-बहू के मन्दिर विष्णु को समर्पित है तथा दसवीं सदी के बने हुए हैं, जो श्वेत पत्थर के चौकोर चबूतरों पर निर्मित है।

106.         नागदा के सास-मन्दिर का शिखर ईंटों का है तथा शेष मन्दिर संगमरमर का है। इस मंदिर के स्तंभ, उत्कीर्ण शिलापट्ट एवं मूर्तियों सभी उत्कृष्ट शिल्पकला के उदाहरण हैं।

 

 

कृषि एवं पशुधन


1.       राजस्थान का कृषि क्षेत्र में कौनसा स्थान है? – नौवां

2.     भारत की प्रथम खजूर पौधशाला का निर्माण किस स्थान में हो रहा है? – चौपासनी (जोधपुर)

3.     राष्ट्रीय ऊंट अनुसंधान केंद्र कहां स्थित है? – जोड़बीड़ (बीकानेर)

4.     सवाई चाल व तेज दौड़ने वाले बैल होते हैं? – नागौरी नस्ल के

5.     राजस्थान की कुल पशु संपदा में किस पशु की संख्या सबसे अधिक है? – बकरी

6.     राजस्थान के किन जिलों में अमेरिकी रुई (कपास) के बीज बोए जाते हैं? – गंगानगर और बांसवाड़ा

7.     राजस्थान के किस जिले में सर्वाधिक अफीम का उत्पादन होता है? – चित्तौड़गढ़

8.     राजस्थान के पशुधन में किस जानवर का प्रतिशत सर्वाधिक है? – बकरियां

9.     राजस्थान के शासन की भूमि सुधार नीति का सर्वाधिक महत्वपूर्ण उद्देश्य है? – कृषि पैदावार में वृद्धि

10.  राजस्थान के संदर्भ में वालरा का अर्थ है? – विस्थापित कृषि

11.   राजस्थान को सर्वाधिक प्रभावित करने वाला अकाल कौनसा था? – छप्पनिया अकाल

12.  राजस्थान में सुनहरी क्रांतिका संबंध है? – बागवानी उत्पादन से

13.  राजस्थान में अनार का सेंटर ऑफ एक्सीलेंसकहां स्थित है? – ढिंढ़ोल (जयपुर)

14.  राजस्थान में कपास का सर्वाधिक उत्पादन कहां होता है? – हनुमानगढ़

15.  राजस्थान में कौनसा जिला अधिकतम मात्रा में इसबगोल पैदा करता है? – जालौर

16.  राजस्थान में खरीफ की फसल कौनसी है? – बाजरा, ज्वार, मक्का

17.  राजस्थान में गेहूं की पैदावार में अग्रणी जिला कौनसा है? – श्रीगंगानगर

18.  राजस्थान में चेती गुलाब की खेती का प्रमुख क्षेत्र है? – पुष्कर

19.  राजस्थान में जिस पशुधन का सर्वाधिक प्रतिशत है, वह पशु है? – बकरी

20.राजस्थान में जीरे का सर्वाधिक उत्पादन किस समूह में होता है? – बाड़मेर, जालौर, नागौर, पाली

21.  राजस्थान में जीवनधारा योजना का संबंध है? – सिंचाई कुओं के निर्माण से

22.राजस्थान में देश के कुल पशुधन का कितना प्रतिशत पाया जाता है? – 7 प्रतिशत

23.राजस्थान में पाई जाने वाली ऊंट की नस्लें हैं? – नाचना, कछी, केसपाल

24.राजस्थान में भेड़ों की कितनी नस्लें पायी जाती हैं? – आठ

25.राजस्थान में भेड़ों की सर्वाधिक संख्या किस जिले में है? – बाड़मेर

26.राजस्थान में माही कंचन, माही धवल और मेघा किस्में हैं? – मक्के की

27.राजस्थान में सर्वाधिक उत्पादन वाला फूल कौनसा है? – गेंदा

28.राजस्थान में सर्वाधिक मक्का उत्पादन करने वाले जिले हैं? – डूंगरपुर और बांसवाड़

29.राजस्थान में सोनामुखी (सनाय) की खेती का प्रमुख क्षेत्र है? – जोधपुर

30.राजस्थान से सबसे अधिक ऊन देने वाली भेड़ की नस्ल है? – जैसलमेरी

31.  इजराइल की सहायता से राजस्थान के शुष्क प्रदेशों में जिस फसल को बोया जाता है, वह है? – होहोबा

32.एक किलो सोयाबीन से कितना सोया दूध तैयार किया जा सकता है? – 6 - 8 कि.ग्रा.

33.कम क्षेत्रफल में चावल की नर्सरी तैयार करने के लिए उपयुक्त विधि है? – डेपोग विधि

34.किन्नू का सर्वाधिक उत्पादन होता है? – गंगानगर में

35.किस नस्ल के बैल कृषि कार्य के लिए सर्वोत्तम माने जाते हैं? – नागौरी

36.किस फसल का सबसे बड़ा उत्पादक राजस्थान है? – बाजरा

37.कुल पशुधन की संख्या की दृष्टि से प्रथम जिला है? – बाड़मेर

38.केंद्रीय भेड़ व ऊन अनुसंधान संस्थान कहां स्थित है? – अविकानगर (टोंक)

39.कौनसी भैंस के सींग छोटे व जलेबी के आकार के मुड़े हुए होते हैं? – मुर्रा

40.खजूर की देर से पकने वाली किस्म है? – मेडज़ूल

41.  खेतों में जुताई के बाद भूमि को समतल करने के लिए फेरा जाने वाला मोटा पाट क्या कहलाता है? – चावर

42.गरीब आदमी की गाय किसे कहा जाता है? – बकरी

43.गाजर की एशियाई किस्मों में अधिक पाया जाता है? – एंथोसाइएनिन पिगमेंट

44.गाय के दूध में वसा का प्रतिशत है? – 4 - 5 प्रतिशत

45.गुलाब के फूलों के निर्यात में अग्रणी जिला कौनसा है? – अजमेर

46.गोरबंद आभूषण क्या है? – ऊंट के गले का

47.चौकला किस पशु की उन्नत किस्म है? – भेड़

48.जखराना बकरियां किस जिले से संबंधित है? – अलवर

49.जिसका उद्देश्य पानी की कुशल कृषि को बढ़ावा देना है? – विश्व बैंक

50.जैविक मृदा में जैविक पदार्थों की मात्रा होती है? – 20 प्रतिशत

51.  जैसलमेर मरुस्थल की गाय-बैलों की मुख्य नस्ल है? – थारपारकर

52.टाऊं या बिजूका का उपयोग ग्राम्य क्षेत्रों में किसलिए किया जाता है? – खेती की सुरक्षा

53.टेटीइंग है? – पशुओं की पहचान बनाने का एक तरीका

54.तेंदू पत्ते मुख्यतः किस जिले से प्राप्त होते हैं? – बांसवाड़ा

55.थारपारकर गाय कहां पाई जाती है? – बाड़मेर

56.दुग्ध उत्पादन हेतु गाय की प्रसिद्ध नस्लें कौनसी हैं? – थारपारकर व राठी

57.दुग्ध-उत्पादन हेतु गाय की प्रसिद्ध नस्लें हैं? – थारपारकर एवं राठी

58.दूध दोहने की सर्वोत्तम विधि है? – पूर्णहस्त विधि

59.दोहरे उद्देश्य वाली गाय की नस्ल है? – थारपारकर

60.नवंबर से मार्च की अवधि में होने वाली फसलों को हम क्या कहते हैं? – रबी

61.  नागौर किस खुशबूदार उपज के लिए प्रसिद्ध है? – मैथी

62.नाशीजीवों द्वारा होने वाले सकल फसल नुकसान में सबसे ज्यादा होता है? – खरपतवारों से

63.नींबू में सिट्रस केंकर रोग का कारण है? – जेंथोमोनाज सिट्राई जीवाणु

64.नीली क्रांति का संबंध किससे है? – मछली उत्पादन से

65.पशुओं को आंतरिक परजीवी मारने के लिए कृमिनाशक दवा पिलानी चाहिए? – वर्ष में दो बार

66.पश्चिमी राजस्थान में खेती में भूमिगत जलाक्रांति को क्या कहा जाता है? – सेम की समस्या

67.पौधशाला में मिट्टी शोधन के लिए सबसे उपयोगी रसायन है? – फार्मेल्डीहाइड

68.बीकानेर, जैसलमेर, नागौर और कोटा में से किस एक जिले में गेहूं का उत्पादन न्यूनतम होता है? – जैसलमेर

69.बीकानेरी, जैसलमेरी, मारवाड़ी और पूंगल किसकी नस्लें हैं? – भेड़

70.भारत का मवेशियों की संख्या के लिहाज में विश्व में कौनसा स्थान है? – दूसरा

71.  भारत के शुद्ध सिंचित क्षेत्र में राजस्थान का हिस्सा कितना है? – 7.7 प्रतिशत

72.भारत में दक्षिण-पश्चिम मानसून के दौरान कौनसी फसल बोई जाती है? – खरीफ की फसल

73.भारत में बाजरे का सबसे बड़ा उत्पादक राज्य कौनसा है? – राजस्थान

74.भारत सरकार के कृषि मंत्रालय के अनुसार राजस्थान किस उत्पाद का सबसे बड़ा उत्पादक राज्य है? – सरसों

75.भेड़ की किस नस्ल को भारतीय मेरिनोकहा जाता है? – चौकला

76.मक्का उत्पादन का प्रमुख जिला युग्म है? – उदयपुर-राजसमंद

77.मालपुरा, नाली, मगरा व मालवी में से कौनसी एक राजस्थान में भेड़ की नस्ल नहीं है? – मालवी

78.मालाणी ग्राम किस नस्ल की गाय का उत्पत्ति स्थल है? – थारपारकर

79.मालाणी नस्ल किस पशु से संबंधित है? – घोड़ा

80.हरित राजस्थान कार्यक्रम प्रारम्भ हुआ था? – 2009 में

81.  मुख्यमंत्री पशुधन निःशुल्क योजना कब शुरू की गई? – 15 अगस्त, 2012 से

82.राजस्थान का दूसरा स्पाइस पार्क स्थापित किया गया है? – कोटा में

83.राजस्थान में इसबगोल, जीरा और टमाटर का सबसे ज्यादा उत्पादन किस जिले से होता है? – जालौर

84.राजस्थान में गन्ना उत्पादन में प्रथम जिला है? – बूंदी

85.राजस्थान में पाई जाने वाली वह मिट्टी है जिसमें नमी को रोके रखने का विशेष गुण होता है? – काली

86.राजस्थान में मूंगफली का सबसे ज्यादा उत्पादन किस जिले से होता है? – बीकानेर

87.राजस्थान में संतरा उत्पादन में अग्रणी जिला है? – झालावाड़

88.राठी नस्ल किस पशु से संबंधित है? – गाय

89.राष्ट्रीय बीजीय मसाला अनुसन्धान केन्द्र कहां स्थित है? – तबीजी (अजमेर)

90.लाल मिर्च के लिए कौनसा क्षेत्र प्रसिद्ध है? – मथानिया

91.  लौकी में नर फूलों के अधिक उद्भव का कारण है? – उच्च तापक्रम एवं अधिक नत्रजन

92.वर्ष 2011-2012 के अनुसार तिलहन उत्पादन में राजस्थान का भारत में स्थान है? – दूसरा

93.वह सिंचाई परियोजना जिससे आदिवासी कृषकों को अत्यधिक लाभ होगा? – जाखम परियोजना

94.केसर, फजली, दशहरी, हलीवी में से विजातीय चुनिए – हलीवी

95.शुष्क वन अनुसंधान केंद्र (आफरी) स्थित है? – जोधपुर

96.संतरा उत्पादन की दृष्टि से 'राजस्थान का नागपुर' किसे कहा जाता है? – झालावाड़

97.सरसों के उत्पादन से भारत में राजस्थान का स्थान है? – प्रथम

98.सर्वप्रथम नवजात बछड़ों-बछड़ियों को पिलाना चाहिए? – खीस

99.सर्वाधिक फल उत्पादन के कारण किस जिले को बागानों की भूमिकहा जाता है? – श्रीगंगानगर

 

 

विविध


1.       वल्लभ सम्प्रदाय के प्रवर्तक कौन थे? -- वल्लभाचार्य

2.     जसनाथी संप्रदाय की प्रधान पीठ कहाँ है? -- कतियासर

3.     निम्बार्काचार्य द्वारा प्रवर्तित निम्बार्क सम्प्रदाय को किस अन्य नाम से जाना जाता है? -- हंस सम्प्रदाय से

4.     पुष्टिमार्गीय वैष्णव संप्रदाय की प्रधान पीठ कहाँ है? -- नाथद्वारा

5.     जीणमाता का मंदिर किस जिले में है? -- - सीकर

6.     बेलि क्रिसन रुक्मणी रीपुस्तक के लेखक कौन है? -- पृथ्वीराज राठौड़

7.     पृथ्वीराज रासौ के लेखक चंद बरदाई किस शासक के राजकवि व सामंत थे? -- अजमेर के पृथ्वीराज राठौड़ के

8.     प्रसिद्ध प्रेमकथा ढोला मारु रा दोहाके रचनाकार कौन थे? -- कल्लोल

9.     कुम्भलगढ़ दुर्ग का निर्माण महाराणा कुम्भा ने किस प्रमुख वास्तुकार व शिल्पी की देखरेख कराया था? -- मंडन की

10.  चित्तौड़गढ़ दुर्ग को राजस्थान का गौरव एवं गढ़ों का सिरमौर कहा जाता है जिसका निर्माण किस मौर्य शासक ने कराया था? -- चित्रागंद मौर्य ने

11.   चीनी मिट्टी के बर्तनों पर नीले रंग से चित्रण की कला क्या कहलाती है? -- ब्ल्यू पॉटरी

12.  पिछवाई पेंटिंग के लिए कौनसा शहर सर्वाधिक प्रसिद्ध है? -- नाथद्वारा

13.  ऊन को कूट-कूट कर तथा दबा कर बनाए जाने नमदों के लिए कौनसा शहर प्रसिद्ध है? -- टौंक

14.  चित्तौड़गढ़ जिले का कौनसा गाँव आजम प्रिंट के लिए प्रसिद्ध है? -- आकोला

15.  नीले व लाल रंग का सर्वाधिक प्रयोग अजरक प्रिंटके लिए कौनसा नगर प्रसिद्ध है? -- बाड़मेर

16.  भैंसलाना किसके खनन के लिए प्रसिद्ध है? -- काले संगमरमर के लिए

17.  राजस्थान में किस जनजाति के लोगों की जनसंख्या सर्वाधिक है? -- मीणा

18.  पाबूजी राठौड़ व जीन्दराव खींची के मध्य युद्ध कब हुआ? -- 1266 ई में

19.  किस लोक देवता का स्मारक मक़बरा नुमा है तथा इसके प्रवेश द्वार पर बिस्मिल्लाह भी अंकित है? -- जाहरपीर गोगाजी

20.अभिनव भरताचार्य किस शासक को कहा जाता है? -- महाराणा कुंभा को

21.  किस किले को भटनेर का किला कहा जाता है? -- हनुमानगढ़ किले को

22.मारवाड़ में राठौड़ वंश की स्थापना किसने की? -- राव सीहा ने

23.पुष्कर में 19 वीं शताब्दी में बना रंगनाथजी का मंदिर किस शैली में बना है? -- दक्षिणात्य शैली में

24.देव सोमनाथ मंदिर किस जिले में स्थित है? -- डूंगरपुर जिले में

25.बाड़मेर जिले के किराडू के प्रसिद्ध मंदिरों में सबसे प्रमुख मंदिर कौनसा है? -- सोमेश्वर महादेव का

26.राजस्थान में राज्य स्तरीय पशु मेले सबसे से ज्यादा किस जिले में भरते है? -- नागौर में

27.एस्बेस्टस के उत्पादन में राज्य का स्थान कौनसा है? -- प्रथम

28.धामण, करड एवं अंजन क्या है? -- राजस्थान में घास की किस्में

29.ऊँट की खाल पर स्वर्ण युक्त मीनाकारी व चित्रांकन आदि करने की जैसलमेर की बहुआयामी कला का क्या नाम है? -- उस्ता कला

30.सबसे पुरानी नहरों में से एक गंग नहर का निर्माण 1927 में फिरोजपुर पंजाब के निकट हुसैनीवाला में सतलज नदी से नहर निकाल कर किसने कराया था? -- बीकानेर के राजा गंगासिंह ने

31.  खारी नदी किस अपवाह तंत्र का अंग है? -- बंगाल की खाड़ी

32.राजस्थान के मेवाड़ राज्य के वो कौन शासक थे जिन्होंने बनारस हिन्दू विश्वविद्यालय की स्थापना के लिए पं. मदन मोहन मालवीय को आर्थिक सहयोग दिया? -- महाराणा फतहसिंह

33.राजस्थान में प्रथम सहकारी समिति 1905 में कहाँ स्थापित की गई ? -- अजमेर जिले के भिनाय में

34.कर्नल जेम्स टॉड ने किस युद्ध को मेवाड़ का थर्मोपॉली कहा था? -- हल्दीघाटी युद्ध को

35.कर्नल जेम्स टॉड ने किस युद्ध को मेवाड़ का मेराथन कहा था? -- दिवेर युद्ध को

36.उस स्थान का नाम क्या है जहाँ महाराणा प्रताप का 19 जनवरी, 1597 को देहान्त हुआ था, तथा जहाँ उनकी समाधि भी स्थित है? -- उदयपुर के पास चावण्ड गाँव में

37.महाराणा प्रताप व अकबर की सेना के सेनापति मानसिंह के बीच 21 जून, 1576 को प्रसिद्ध युद्ध कहाँ हुआ था? -- नाथद्वारा के निकट हल्दीघाटी में

38.सन् 1957 में स्थापित राजस्थान संगीत नाटक अकादमी कहाँ स्थित है? -- जोधपुर में

39.सन् 1957 में स्थापित राजस्थान ललित कला अकादमी कहाँ स्थित है? -- जयपुर में

40.सेवण घास राज्य के किस जिले में सर्वाधिक मात्रा में पाई जाती है? -- जैसलमेर जिले में

41.  हनुमानगढ़ के किले को किस नाम से जाना जाता है? -- भटनेर का किला

42.जंगली मुर्गों के लिए कौनसा अभयारण्य प्रसिद्ध है? -- माउण्ट आबू

43.उड़न गिलहरियों के लिए कौनसा अभयारण्य प्रसिद्ध है? -- प्रतापगढ़ जिले का सीता माता अभ्यारण्य

44.राजस्थानी भाषा में प्रकाशित होने वाली पत्रिका जागती जोतका प्रकाशक कौन है? -- राजस्थानी भाषा साहित्य एवं संस्कृति अकादमी, बीकानेर

45.राजस्थान का राज्य पशु क्या है? -- चिंकारा

46.नए दामाद के ससुराल में आने पर स्त्रियों द्वारा कौनसे गीत गाए जाते हैं? -- पावणा गीत

47.गोरबंद गीत किस क्षेत्र में अत्यंत लोकप्रिय है? -- शेखावाटी क्षेत्र

48.ओल्यू गीत कब गाया जाता है? -- किसी की याद में

49.राजस्थान की लोक कलाओं, लोक संगीत के संरक्षण, लुप्त हो रही कलाओं की खोज व उनके उन्नयन तथा लोक कलाकारों को प्रोत्साहित कर उनके विकास के लिए प्रयासरत रूपायन संस्थान कहाँ स्थित है? -- बोरूंदा-जोधपुर में

50.केवलादेव राष्ट्रीय उद्यान को यूनेस्कों ने विश्व विरासत सूची में शामिल कब किया था? -- 1983 में

51.  रेगिस्तान का कल्प वृक्ष किसे कहते हैं? -- खेजड़ी ( शमी ) को

52.राजस्थान का राज्य पुष्प क्या है? -- रोहिड़ा ( रिकोमेला अंडूलेटा )

53.किस वृक्ष को राज्य का राज्यवृक्ष कहते हैं? -- खेजड़ी ( प्रोसोसिप सिनेरिया )

54.राजस्थान का राज्य पक्षी का दर्जा किसे प्राप्त है? -- गोडावण ( क्रायोटीस नाइग्रीसैथ्स ) को

55.घुड़ला पर्व कब मनाया जाता है? -- गणगौर से एक दिन पूर्व

56.नागदा का प्राचीन सहस्त्रबाहु मंदिर कहाँ स्थित है? -- उदयपुर जिले में कैलाशपुरी के तालाब के किनारे

57.मथानिया सौर ऊर्जा संयंत्र राजस्थान के किस जिले में है? -- जोधपुर में

58.राजस्थान की बहुरूपिया कला को विश्व के अनेक राष्ट्रों में प्रदर्शित करने वाले कलाकार का नाम क्या है? -- जानकीलाल भांड

59.राजस्थान के सर्वाधिक अनुसूचित जाति जनसंख्या वाले जिले का नाम क्या है? -- जयपुर

60.राजस्थान की सबसे लंबी नदी कौनसी है? -- चंबल

61.  राजस्थान उच्च न्यायालय का मुख्यालय कहाँ स्थित है? -- जोधपुर

62.राज्य में पूर्ण बहाव के आधार पर सबसे लंबी नदी कौनसी है? -- बनास

63.राजस्थान की प्रथम महिला मंत्री कौन थी? -- श्रीमती कमला बेनीवाल

64.राजस्थान की प्रथम राजस्थानी फिल्म कौनसी बनी थी? -- नजराणों

65.राजस्थान का अबुल फजल किसे कहते हैं ? -- मुहणोत नैणसी

66.राजस्थान की प्रथम महिला मुख्यमंत्री का नाम क्या है? -- श्रीमती वसुंधरा राजे

67.बागड़ के गॉंधी के रूप में किसे जाना जाता है? -- भोगीलाल पण्ड्या

68.किस शहर को जलमहलों की नगरी कहा जाता है? -- डीग (भरतपुर)

69.राजस्थान का कानपुर किस शहर को कहा जाता है? -- कोटा

70.राजस्थान में सर्वाधिक पशु संख्या वाला जिला कौनसा है? -- उदयपुर

71.  राजस्थान का क्षेत्रफल देश के क्षेत्रफल का कितने प्रतिशत भाग है? -- 74 प्रतिशत (लगभग1/10 भाग)

72.किस शहर को राजस्थान का गौरव भी कहा जाता है? -- चित्तौड़गढ़

73.किस स्वाधीनता सेनानी को राजस्थान के गॉंधी के नाम से भी जाना जाता है? -- गोकुल भाई भट्ट

74.किस दुर्ग को राजस्थान का वैल्लोर कहा जाता है? -- भैंसरोड़गढ़ दुर्ग

75.राजस्थान की प्रथम महिला विधान सभाध्यक्ष का नाम क्या है? -- सुमित्रा सिंह

76.राजस्थान का सर्वाधिक आर्द्र शहर कौनसा है? -- माउण्ट आबू

77.राजस्थान का सर्वाधिक आर्द्र जिला कौनसा है? -- झालावाड़

78.राजस्थान राज्य का स्थापना दिवस कब मनाया जाता है? -- 30 मार्च

79.लोक कलाओं के संरक्षण के लिए कार्यरत उदयपुर स्थित भारतीय लोक कला मंडल के संस्थापक कौन हैं? -- देवीलाल सामर

80.भारत सरकार द्वारा 1986 में स्थापित पश्चिम क्षेत्र सांस्कृतिक केन्द्र कहाँ स्थित है? -- उदयपुर में

81.  सन् 1958 में स्थापित राजस्थान साहित्य अकादमी का मुख्यालय कहाँ है? -- उदयपुर में

82.बांकिया से मिलता जुलता वह कौनसा वाद्य है जिसे रण क्षेत्र में बजाया जाता है? -- भूँगल या भेरी

83.राजसमंद जिले के किस गाँव में आहाड़ या आयड़ सभ्यता के समकालीन दो टीले प्राप्त हुए हैं? -- गिलूण्ड में

84.संत ने जम्भो जी ने किस संप्रदाय की स्थापना की? -- विश्नोई

85.भक्त कवयित्री मीरा बाई का जन्मस्थान कहाँ है? -- मेड़ता

86.देवी के रतजगे के समय महिलाओं द्वारा गाए जाने वाले गीत या मंत्र क्या कहलाते हैं? -- चिरजा

87.अलौकिक शक्ति द्वारा किसी कार्य को करना अथवा करवा देना क्या कहलाता है? -- पर्चा देना

88.श्रद्धालु अपने आराध्य लोकदेवता की सोने, चाँदी, पीतल, ताँबे आदि धातुओं की बनी छोटी प्रतिकृति गले मे बाँधते है जिसे क्या कहते हैं? -- नावा या चौकी

89.लोकमानस में सुगनचिड़ी को किस माता का स्वरूप माना जाता है? -- आवड़ माता का

90.आवड माता जैसलमेर के किस राजवंश की कुलदेवी थी? -- भाटी राजवंश की

91.  गलियाकोट, डूंगरपुर में किस मुस्लिम संत की दरगाह है? -- फखरुद्दीन की

92.घुड़ला त्यौहार राजस्थान के मारवाड़ क्षेत्र में कब से कब तक मनाया जाता है? -- चैत्र कृष्णा अष्टमी से चैत्र शुक्ल तृतीया तक

93.गलता जयपुर में किस संप्रदाय की पीठ है? -- रामानुज संप्रदाय की

94.गुरू पूर्णिमा किस माह में आती हैं? -- आषाढ़ मास में

95.     वैशाख शुक्ल तृतीय को क्या कहते हैं? -- आखातीज या अक्षय तृतीया

96.      रखड़ी क्या है? -- सिर पर पहना जाने वाला आभूषण

97.     मौनी अमावस्या के दिन मौन व्रत रखा जाता है यह किस दिन आती है? -- माघ अमावस्या के दिन

98.     मल्लीनाथ का पशु मेला कहाँ लगता है?उ. तिलवाड़ा, बाड़मेर

99.     थेवा कला के लिए कौनसा शहर प्रसिद्ध है? -- प्रतापगढ़

100.         राज्य के किन जिलों में एक भी नदी नहीं बहती है? -- बीकानेर व चुरु

101.          राजसमंद जिले का मोलेला गाँव किस कला के लिए प्रसिद्ध है? -- टेराकोटा (मिट्टी की मूर्तियां) के लिए

102.         ब्लैक पॉटरी के कौनसा नगर प्रसिद्ध है? -- कोटा

103.         किस लोक देवता को जाहर पीर कहा जाता है? -- - गोगाजी

104.         चूहों की देवी के रूप में प्रसिद्ध है? -- करणीमाता देशनोक बीकानेर

105.         लांगुरिया गीत किस मंदिर में गाए जाते हैं? -- केलादेवी मंदिर करौली में

106.         गालव ऋषि के आश्रम के रूप में राजस्थान का कौनसा तीर्थ स्थित जाना जाता है? -- गलता जी जयपुर

107.         रुणीजा गाँव में कौनसे लोक देवता का मंदिर है? -- बाबा रामदेवजी

108.         सालासर बालाजी का धाम किस जिले में है? -- चुरू जिले में

109.         कौनसे जैन तीर्थंकर को उदयपुर जिले के आदिवासी काला बाबा के नाम से पूजते हैं? -- ऋषभदेव को

110.          किस नागवंशीय जाट लोकदेवता ने मेर लुटेरों से गाय छुडाने के लिए अपने प्राणों की आहुति दे दी थी? -- तेजाजी ने

111.            राणी सती माता-झुंझुनूं का वास्तविक नाम क्या था? -- नारायणी

112.          आईमाता ( बिलाडा-जोधपुर ) किस लोकदेवता की शिष्या थी? -- रामदेव जी की

113.          राजसमंद झील के किनारे नौ-चौकी पाल पर किस लोक देवी का मंदिर बना है? -- घेवर माता का

114.          कौनसे लोकदेवता राजस्थान के गाँव गाँव में भूमि रक्षक देवता के रूप में पूजे जाते हैं? -- भोमिया जी

115.          शीतला माता का प्रसिद्ध मंदिर कहाँ स्थित है? -- चाकसू जयपुर में

116.          लोकदेवता हड़बूजी किस शासक के समकालीन थे? -- राव जोधा के

117.          लोक देवता तेजाजी की घोड़ी का नाम क्या था? -- लीलड़ी

118.          देवनारायण जी की फड़ किस जाति के भोपों द्वारा बाँची जाती है? -- गुर्जर जाति के द्वारा

119.          कौनसा मेला आदिवासियों के कुंभ के रूप में जाना जाता है? -- वेणेश्वर मेला डूंगरपुर

 



Rajasthan General Knowledge Questions with Answers

 

"राजस्थान सामान्य ज्ञान प्रश्न एवं उत्तर" के लिए अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न (FAQs):


1.    प्रश्न: "राजस्थान सामान्य ज्ञान प्रश्न एवं उत्तर" पुस्तक किसके लिए उपयोगी है?
उत्तर: यह पुस्तक राजस्थान के प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कर रहे छात्रों के लिए अत्यंत उपयोगी है, जैसे कि राजस्थान प्रशासनिक सेवा (RAS), राजस्थान पुलिस, पटवारी, ग्राम सेवक, शिक्षक भर्ती और अन्य राज्य स्तरीय परीक्षाएं।

2.    प्रश्न: इस पुस्तक में किस प्रकार के प्रश्न शामिल हैं?
उत्तर: इस पुस्तक में राजस्थान के इतिहास, भूगोल, संस्कृति, राजनीति, अर्थव्यवस्था, और समसामयिक घटनाओं से संबंधित प्रश्न शामिल हैं। साथ ही, इसमें राजस्थान की प्रमुख हस्तियों, लोक कला, संगीत, स्थापत्य, और विभिन्न योजनाओं के बारे में भी जानकारी दी गई है।

3.    प्रश्न: क्या यह पुस्तक केवल तथ्यात्मक जानकारी पर आधारित है?
उत्तर: हां, यह पुस्तक मुख्यतः तथ्यात्मक जानकारी पर आधारित है, जो विशेष रूप से वस्तुनिष्ठ प्रश्नों की तैयारी के लिए उपयोगी होती है। इसमें सामान्य ज्ञान के प्रश्नों के उत्तर भी दिए गए हैं।

4.    प्रश्न: क्या यह पुस्तक नवीनतम आंकड़ों और जानकारियों पर आधारित है?
उत्तर: हां, इस पुस्तक में नवीनतम आँकड़ों और घटनाओं को समाहित किया गया है ताकि यह छात्रों को अद्यतन जानकारी प्रदान कर सके।

5.    प्रश्न: पुस्तक को किस प्रकार से पढ़ना चाहिए?
उत्तर: आप इसे अध्याय अनुसार क्रमबद्ध तरीके से पढ़ सकते हैं, साथ ही दिए गए प्रश्नों के उत्तरों का अभ्यास कर सकते हैं। नियमित अभ्यास के लिए आप मॉडल टेस्ट पेपर्स या मॉक टेस्ट भी हल कर सकते हैं, जो पुस्तक में शामिल होते हैं।

6.    प्रश्न: क्या इसमें पिछले वर्षों के प्रश्नपत्र शामिल हैं?
उत्तर: हां, कई बार इस प्रकार की पुस्तकों में पिछले वर्षों के प्रश्नपत्र या उनसे संबंधित प्रश्न दिए जाते हैं ताकि छात्र परीक्षा के प्रारूप को समझ सकें और उनकी तैयारी बेहतर हो सके।

7.    प्रश्न: क्या पुस्तक में राजस्थान के सभी जिलों की जानकारी दी गई है?
उत्तर: हां, पुस्तक में राजस्थान के सभी जिलों की ऐतिहासिक, भौगोलिक, सांस्कृतिक और आर्थिक जानकारी विस्तार से दी गई है।

8.    प्रश्न: इस पुस्तक की भाषा क्या है?
उत्तर: यह पुस्तक हिंदी भाषा में लिखी गई है, जिससे राज्य के अधिकांश छात्रों को समझने में आसानी हो और वे सहज रूप से इसे पढ़ सकें।

9.    प्रश्न: क्या पुस्तक में चित्र और नक्शे भी शामिल हैं?
उत्तर: हां, कई बार बेहतर समझ के लिए राजस्थान के मानचित्र, चित्र और तालिकाएं भी दी जाती हैं ताकि भौगोलिक जानकारी को आसानी से समझा जा सके।

10. प्रश्न: "राजस्थान सामान्य ज्ञान प्रश्न एवं उत्तर" का अद्यतन संस्करण कब आता है?
उत्तर: इस पुस्तक का अद्यतन संस्करण हर वर्ष या जब भी कोई नई जानकारी या महत्वपूर्ण परिवर्तन होता है, तब प्रकाशित किया जाता है।

 


इस प्रकार, "राजस्थान सामान्य ज्ञान प्रश्न एवं उत्तर" पुस्तक राजस्थान से संबंधित सभी महत्वपूर्ण जानकारी को सरल और सुसंगत तरीके से प्रस्तुत करती है, जो प्रतियोगी परीक्षाओं में सफलता प्राप्त करने में सहायक होती है।

 


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